इंटक ने मनाया 84वां स्थापना दिवस, चार श्रम संहिताओं के विरोध में एकजुट हुए श्रमिक संगठन, देवास से भी शामिल हुए कार्यकर्ता
भारत सागर न्यूज/देवास। इंटक का 84वां स्थापना दिवस प्रदेश स्तरीय आयोजन के रूप में इंदौर में संपन्न हुआ, जिसमें देवास जिले से बड़ी संख्या में पदाधिकारी एवं कार्यकर्ताओं ने सहभागिता की। कार्यक्रम श्रम शिविर में आयोजित किया गया, जहां श्रमिक अधिकारों को लेकर गंभीर विचार-विमर्श किया गया।
प्रदेश मीडिया प्रभारी कैलाश वर्मा ने बताया कि कार्यक्रम में मुख्य वक्ता के रूप में इंटक प्रदेशाध्यक्ष श्याम सुंदर यादव, इंटक के पूर्व अध्यक्ष कपूर, एटक अध्यक्ष सी.एल. शेरावत सहित देवास के मकसूद पठान, लक्ष्मीनारायण पाठक, लाखन सिंह ठाकुर, हरनाम सिंह धारीवाल, देवीसिंह सेंगर और सुशीला यादव ने अपने विचार रखे।
वक्ताओं ने चार श्रम संहिताओं का विरोध करते हुए कहा कि ये कानून कॉर्पोरेट हितों को बढ़ावा देने और श्रम बाजार को नियमविहीन बनाने का माध्यम हैं। उनका कहना था कि इन संहिताओं के जरिए नौकरी की सुरक्षा समाप्त करने, हड़ताल के अधिकार को कमजोर करने, श्रम निरीक्षण प्रणाली को खत्म करने, ठेका और फिक्स्ड टर्म रोजगार को बढ़ावा देने तथा यूनियनों की शक्ति को कम करने की कोशिश की जा रही है।
कार्यक्रम के दौरान केन्द्रीय ट्रेड यूनियनों के संयुक्त मंच ने एक स्वर में चारों श्रम संहिताओं को रद्द करने की मांग की। इस दौरान इंटक, एटक, एचएमएस, सीटू, एआईयूटीयूसी, टीयूसीसी, यूटीयूसी और सेवा संगठनों के साथ-साथ बैंक, बीमा, बीएसएनएल तथा राज्य और केन्द्रीय कर्मचारी संगठनों के प्रतिनिधि बड़ी संख्या में उपस्थित हुए।
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