crime news - एक वर्ष पूर्व हत्याकाण्ड में हुआ निर्णय....युवक की गला घोंटकर की थी हत्या

 

एक महिला सहित चार आरोपियों को न्यायाधीश ने आजीवन कारावास से किया दंडित 



देवास। गत वर्ष शहर के आयोध्या बस्ती में युवक का गला घोंटकर हत्या करने का मामला सामने आया था। जिसके चलते औद्योगिक थाने में अज्ञात लोगों पर हत्या करने का प्रकरण पंजीबद्ध कर मामले को विवेचना में लिया गया था। इस प्रकरण में पुलिस ने चार आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया था। मामला न्यायालय में विचाराधीन था। इस प्रकरण में सुनवाई कर द्वितीय अपर सत्र न्यायाधीश ने फैसला सुनाते हुए चार आरोपियों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। 

गत वर्ष 9 मई 2020 को औद्योगिक थाना क्षेत्र के आयोध्या बस्ती में संतोष नामक युवक का गला घोंटकर हत्या करने की घटना हुई थी। इस प्रकरण में पुलिस ने चार आरोपियों को धरदबोचा था। पुलिस ने चारों आरोपियों के खिलाफ धारा 302, 34, 120 बी, 201 के तहत प्रकरण दर्ज कर लिया था। उक्त मामला न्यायालय में विचाराधीन था। यह प्रकरण द्वितीय अपर सत्र न्यायाधीश गंगाचरण दुबे के न्यायालय में पेश किया था, बुधवार को चारों आरोपियों को आजीवन कारावास से दंडित कर जेल भेज दिया गया। 



इस प्रकरण के तहत उपसंचालक अभियोजन अजय सिंह भंवर ने बताया की इस प्रकरण में एक महिला व तीन पुरूष आरोपी है ममता पति अजाप सिंह मालवीय, महेन्द्र पिता मेहरबान सिंह गोयल, अजाप सिंह पिता नरबत सिंह मालवीय तीनों आरोपी आयोध्या बस्ती के निवासी है। इनके साथ ही लखन पिता पूरनलाल डोर यह त्रिलोक नगर इटावा का निवासी है। इन चारों आरोपियों ने संतोष का गला घोंटकर हत्या की थी। आरोपियों के मोबाइल की लोकेशन पुलिस ट्रेस की थी जिस पर ये चारों आरोपी पुलिस गिरफ्त में आए थे। उक्त मामला गत वर्ष 9 मई 2020 रात्रि करीब 9.30 बजे का है। इन आरोपियों ने संतोष की हत्या करके शव को फांसी पर लटकाकर आत्महत्या दिखाने का प्रयास किया था। 

यह था पूरा मामला

जिला अभियोजन अधिकारी राजेन्द्र खांडेगर ने बताया कि 9 मई 2020 को रात्रि लगभग 9:30 बजे सूचनाकर्ता ने औद्योगिक थाने में उपस्थित होकर सूचना दी कि वह अयोध्या बस्ती में रहता है। उसके पड़ोस में ही संतोष गोयल रहता था। जो ग्राम उदयपुर जागीर थाना सिद्धगंज, जिला सीहोर का रहने वाला था। संतोष रिश्ते में उसका साला लगता था, जो आज ही अपने गांव उदयपुर जागीर से देवास आया था। जब सूचनाकर्ता के घर उसे खाना देने के लिये पहुंचा तो उसने देखा कि संतोष घर के अंदर नाइलोन की रस्सी से बल्ली में फंदा डालकर फंासी पर लटका हुआ था। उसने पड़ोस में रहने वाले के साथ संतोष को रस्सी के फंदे से नीचे उतारा एवं 108 एम्बूलेंस को सूचना दी तथा एम्बूलेंस में संतोष को एमजीएच देवास ले जाकर, उसकी लाश को जिला चिकित्सालय के मर्चुरी रूम में रखवाकर, संतोष की मृत्यु की सूचना थाने पर दी। अप्राकृतिक मृत्यु का पंजीयन मर्ग क्रमांक 25/20 लेख कर धारा 174 दंप्र.सं. अंतर्गत मर्ग पंजीबद्ध किया गया। जांच के दौरान पता चला कि आरोपीगण ने दिनांक 9मई 2020 रात्रि को संतोष कुमार गोयल की गला घोंटकर हत्या कारित कर मृतक की लाश को फांसी के फंदे से लटका दिया। अन्य आवश्यक अनुसंधान उपरान्त अभियुक्तगण के विरूद्ध चालान न्यायालय में पेश किया गया। द्वितीय सत्र न्यायाधीश ने 23 जून को निर्णय पारित कर अभियुक्तगण 01-ममता पति अजाप सिंह 02-महेन्द्र पिता मेहरबान सिंह 03-अजापसिंह पिता नरबत सिंह निवासीगण अयोध्या बस्ती, देवास 04-लखन पिता पूरनलाल डोर, निवासी त्रिलोक नगर इटावा को धारा 302, 201,120(बी),34 भादवि के अपराध में आजीवन कारावास व 25000-25000/- अर्थदण्ड से दण्डित किया गया। उक्त प्रकरण में शासन की ओर से अजयसिंह भंवर, उप संचालक (अभियोजन)  द्वारा पैरवी की गई एवं कोर्ट मोहर्रिर प्रआ दिनेश डामोर व आर प्रीतम मिमरोट का विशेष सहयोग रहा।  



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