बिजली बिल से त्रस्त जनता अब जागी....!
भारत सागर न्यूज/गुना। शहर की विवेक कॉलोनी में बुधवार को उस वक्त तनावपूर्ण स्थिति बन गई, जब बिजली कंपनी के कर्मचारी प्रीपेड स्मार्ट मीटर लगाने के लिए पहुंचे। कॉलोनी के दर्जनों रहवासी तुरंत मौके पर एकत्र हो गए और जमकर विरोध प्रदर्शन किया। नाराज लोगों ने स्पष्ट कहा कि वे अपने घरों में किसी भी हालत में स्मार्ट मीटर नहीं लगने देंगे।
कॉलोनीवासियों का कहना था कि स्मार्ट मीटरों के जरिए जबरन अधिक बिल वसूले जा रहे हैं और यह निजीकरण की शुरुआत है, जिससे आम उपभोक्ताओं का शोषण होगा। उनका आरोप था कि जिन क्षेत्रों में पहले से स्मार्ट मीटर लगाए जा चुके हैं, वहां उपभोक्ताओं को तीन से चार गुना तक अधिक बिजली बिल मिल रहे हैं, जबकि खपत में कोई खास अंतर नहीं है। विरोध प्रदर्शन इतना तीव्र था कि बिजली कंपनी के कर्मचारियों को अंततः बिना मीटर लगाए ही वापस लौटना पड़ा।
प्रदर्शन में जानकी बाई, सविता जाट, कृष्णा बाई, अंशुइया बाई, कला कुशवाह, बृजनारायण शर्मा, लाल महाराज, प्रवीण रघुवंशी, किरण रघुवंशी और रणवीर रघुबंशी सहित बड़ी संख्या में महिलाएं और पुरुष शामिल रहे।प्रदर्शनकारियों ने आरोप लगाया कि यह पूरी प्रक्रिया बिना किसी सार्वजनिक चर्चा या सहमति के लागू की जा रही है, जो पूरी तरह उपभोक्ता विरोधी है। लोगों का कहना है कि बिजली कंपनियां केवल निजी कंपनियों को फायदा पहुंचाने के उद्देश्य से स्मार्ट मीटर थोप रही हैं।
प्रवीण रघुवंशी ने बताया कि जैसे ही कंपनी के कर्मचारी मीटर लगाने आए, कॉलोनी के लोग तुरंत एकजुट हो गए और शांतिपूर्ण लेकिन सशक्त विरोध दर्ज कराया। विरोध को देखते हुए कर्मचारियों ने खुद ही मीटर लगाने से इनकार कर दिया। कॉलोनीवासियों ने गुना शहर के अन्य इलाकों के लोगों से भी अपील की है कि वे अपने मोहल्लों में ऐसे मीटरों के खिलाफ संगठित होकर विरोध करें।
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साथ ही यह सुझाव भी दिया गया कि प्रत्येक गली और मोहल्ले में जन समिति का गठन किया जाए, ताकि भविष्य में इस तरह के निर्णयों का सामूहिक विरोध किया जा सके।
कॉलोनीवासियों ने प्रशासन को चेतावनी दी है कि यदि दोबारा ऐसी कोई कोशिश की गई, तो इसका और भी व्यापक विरोध होगा। इससे पहले जिन क्षेत्रों में स्मार्ट मीटर लगाए गए हैं, वहां के उपभोक्ता पहले ही भारी भरकम बिलों के चलते बिजली कंपनी के सामने प्रदर्शन कर चुके हैं और हाल ही में जनसुनवाई में भी अपनी शिकायत दर्ज करा चुके हैं। विवेक कॉलोनी की यह घटना अब पूरे शहर में चर्चा का विषय बन गई है और यह सवाल उठ खड़ा हुआ है कि आम जनता की राय के बिना इतना बड़ा तकनीकी बदलाव कैसे लागू किया जा सकता है।
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